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विष्कुम्भादि 27 योग

गण्ड योग 

गण्ड योग में जन्म लेने वाला व्यक्ति दृढ प्रतिज्ञ, बहुत अधिक भोगी इनका शारीरिक गठन धड़ की अपेक्षा सिर अधिक बड़ा दिखाई देता है।  स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से इन्हे बहुत सी कठिनाइओं का सामना करना पड़ता है इन्हे दूसरों के धन आदि में अपेक्षाकृत अधिक रुचि होती है।  शीघ्र क्रोधित होना एवं धैर्य खो देना भी इस योग का एक गुण है।  गण्ड योग में जन्मे लोगों के पास शक्ति एवं सामर्थ्य सदैव विद्यमान होता है। 

वृद्धि योग

वृद्धि योग में जन्मे लेने वाले लोगों को स्वभाव से व्यवस्थित एवं सदैव विकास की और उन्मुख रहने वाला माना गया है।  इस योग में जन्म लेने वाले लोग धन एवं चरित्र दोनों से धनी एवं सुन्दर स्वभाव को धारण करने वाले होते हैं, इस योग में जन्मे लोगों का परिवार विशेषतः इनकी पत्नी एवं पुत्र आदि सभी इनके अनुरूप स्वभाव धारण करने वाले होते हैं, ये लोग कुशल व्यापारी एवं धन का संग्रह करने में प्रवीण होते हैं वृद्धि योग में जन्म लेने वाले व्यक्ति सभी प्रकार के भौतिक सुखो का उपभोग करने वाले माने गए हैं।  इस योग में जन्मे लोग व्यापारिक सम्बन्ध बनाने में कुशल होते हैं।  जन्म कुंडली में यदि किसी अन्य प्रकार से अल्पायु आदि योग है तो इस योग के संयोग से वह भंग हो जाता है।  इस प्रकार वृद्धि योग भाग्य में वृद्धि करने वाला योग माना गया है। 

ध्रुव योग 

ध्रुव योग में जन्म लेने वाले लोग धैर्य धारण किये हुए स्थिर बुद्धि के साथ अपने लक्ष्यों की ओर निरंतर प्रगति करते हैं एवं शक्तिवान होतें हैं।  ध्रुव योग में जन्म लेने वाले लोगों के जीवन में धन आदि की स्थिरता बनी रहती है इस योग में जन्मे लोग शुभ बातों को कहने वाला एवं समाज के सभी वर्गों द्वारा सम्माननीय होता है एवं लम्बे जीवन का सौभाग्य प्राप्त होता है। 

व्याघात योग

व्याघात योग में जन्म लेने वाले लोग लगभग सभी प्रकार के कार्य करने में दक्ष होतें है।  एवं ये लोग बहुत से गुणो से संपन्न होते हैं, इस योग में जन्मे लोगों को समाज में प्रचुर मात्रा में मान सम्मान मिलता है।   इस प्रकार इस योग में जन्मे लोग अपने गुणों एवं कार्यों से लोगों में प्रसिद्द होते हैं. व्याघात योग में जन्म लेने वाला व्यक्ति तथ्यों को जानने वाले कर्मकर्ताओं में प्रधान होता है। किंतु कभी-कभी इस योग में जन्मे लोग निंदक, मिथ्याभाषी एवं हिंसक प्रवृत्ति का भी होतें है। 

हर्षण योग

हर्षण योग में जन्म लेने वाले लोग सुंदर, रक्त वर्ण,अलंकार प्रिय, शत्रुजयी, राजप्रिय, भाग्यवान, सदैव शस्त्रों को धारण करने वाला होतें है। 

हर्षण योग की अत्यंत शुभ योग के रूप में मान्यता है. इस योग में जन्म लेने वाले लोग को भाग्यशाली कहा जाता है।  जो व्यक्ति इस योग में जन्म लेते हैं वे अनेक प्रकार के विधाओं एवं शास्त्रों के ज्ञाता होते हैं. इस योग में जन्मे लोग अपने निर्णयों पर स्थिर रहने वाले होते हैं।  ये धनी होते हैं तथा समाज के माननीय लोगों से मान एवं सम्मान प्राप्त करते हैं। 

वज्र योग 

वज्र योग में जन्म लेने वाले लोग वज्र के भांति मजबूत और शक्तिशाली माने गए है! इस योग में जन्मे लोगों के हाथों में ग़जब की ताकत और शक्ति होती है।  वज्र योग में जन्म होने से इन्हे कई प्रकार की विद्याओं में निपुण माना गया हैं और अस्त्र-शस्त्र आदि में भी इन्हे निपुणता प्राप्त होती है। इन्हें सामान्यतः  धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता है। ये लोग अत्यधिक साहसी एवं पराक्रमी भी माने गए हैं।  बज्र योग में जन्म लेने वाले लोग अत्यंत बुद्धिमान भी होते हैं इनका आचरण सत्य बोलने वाले व्यक्ति का होता है , ये बहुमूल्य आभूषणों को धारण करने वाले होते हैं, इन्हे इनकी वज्र समान शक्ति के लिए समाज में विशिष्ट पहचान प्राप्त होती है। 

सिद्ध योग

सिद्ध योग में जन्म लेने वाले लोग उदार मन, धर्मशास्त्र को मानने वाले, दानी स्वभाव, सभी भौतिक सुखों को भोगने वाले, तत्व जिज्ञासु होतें है। सिद्ध योग में जन्म लेने वाले व्यक्ति को सभी तरह की विधाओं से संपन्न कहा जा सकता है क्योंकि ये सभी प्रकार के काम में दक्ष होतें हैं। इन्हें जो भी कार्य मिलता है ये लोग उस कार्य को सम्पूर्ण निष्ठा एवं कुशलता से संपन्न करने  सक्षम होते हैं। ये दिखने में सुन्दर होते हैं और सुखमय जीवन का आनन्द लेते हैं।  ये लोगों की सहायता करने हेतु सदैव तत्पर रहते हैं।  दीन दुखियों को दान देने में भी ये आगे रहते हैं,  इन्हें स्वास्थ्य को लेकर कुछ परेशानियों का सामना करना होता है और कुछ दु:ख उठाना पड़ता है।

व्यतिपात योग

ज्योतिष मान्यता अनुसार व्यतिपात योग में जन्म लेने वाला व्यक्ति अपनी बाल्यावस्था में ढेरों कठिनाईओं का सामना करता है एवं मृत्युतुल्य कष्टो को सहने के उपरांत जीवित रहने में सक्षम हो पाता है। इस योग में जन्म लेने वाले लोगों की आयु जैसे जैसे बढ़ती जाती है ये लोग अपने जीवन में आयी सभी समस्याओं को अपने अनुभव के आधार पर सुख में बदल लेने में सक्षम है।  प्रारंभिक जीवन की अपेक्षा इनका बाद का जीवन  सुखमय व्यतीत होता है और ये यशस्वी होते हैं।  व्यतिपात योग में जन्म लेने वाले लोग अपने माता पिता की आज्ञा का पालन करने वाले, इस योग में जन्मे लोग स्वभाव से कठोर हृदय वाले  होतें है। भाग्य इनका साथ देता है व ये अपने जीवन में श्रेष्ठता अवश्य प्राप्त करते हैं।

वरीयान योग वरीयान योग में जन्मे लोग संगीत, नृत्य एवं कला के विभिन्न क्षेत्रों में रूचि रखतें है।  इन सभी क्षेत्रों में यदि ये लोग  प्रयास करें तो इन्हें बहुत जल्दी सफलता प्राप्त होती है।  इस योग में जन्मे लोग शिल्प कला में भी सफलता अवश्य प्राप्त कर सकते हैं। ये लोग जो निर्णय कर लेते हैं उसे सम्पूर्ण करने का भरसक प्रयास करते हैं।  ये शक्तिसम्पन्न एवं सामर्थ्यवान होते हैं।  वरीयान योग में जन्मे व्यक्ति अन्न, भवनादि का सुख भोगने वाले, एवं  नम्रतायुक्त स्वभाव के स्वामी होतें है। शुभ कर्मों को करने वाले, कला, संगीत व नृत्य आदि में विशेष रूप से दक्ष एवं संपन्न होतें है।

परिघ योग से वैधृति योग

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